दिसंबर 09, 2024
भारतीय नौसेना और इसरो ने शुक्रवार 06 दिसंबर, 2024 को "वेल डेक" रिकवरी परीक्षण करके गगनयान रिकवरी ऑपरेशन के लिए कमर कस ली। ये परीक्षण विशाखापट्टनम के तट पर वेलडेक जहाज का उपयोग करके पूर्वी नौसेना कमान द्वारा किए गए। जहाज के वेलडेक में पानी भर दिया जा सकता है ताकि नावों, लैंडिंग क्राफ्ट, बरामद अंतरिक्षयानों को जहाज के भीतर डॉक करने के लिए अंदर ले जाया जा सके।
मिशन के अंत में जब क्रू मॉड्यूल समुद्र में उतर जाता है, तो क्रू को न्यूनतम संभव समय में और कम से कम असुविधा के साथ वापस लाना होता है। उपलब्ध विकल्पों में से एक यह है कि क्रू मॉड्यूल को चालक दल के साथ जहाज के वेल डेक के अंदर ले जया जाए, जहां चालक दल आराम से क्रू मॉड्यूल से बाहर आ सके।
वेल डेक पुन:प्राप्ति के लिए परीक्षण द्रव्यमान और आकार अनुरूपित क्रू मॉड्यूल मॉक-अप का उपयोग करके किए गए थे। परीक्षणों के दौरान क्रू मॉड्यूल की वेलडेक रिकवरी के लिए संचालन का क्रम भारतीय नौसेना और इसरो द्वारा किया गया था। इस क्रम में रिकवरी बॉय को जोड़ना, खींचना, वेल डेक जहाज में प्रवेश करना, फिक्स्चर पर क्रू मॉड्यूल की स्थिति और वेल-डेक की निकासी शामिल है।
इस परीक्षण ने प्रचालन के समग्र अनुक्रम, ग्राउंड फिक्स्चर को अधिप्रमाणित किया और इससे मानक प्रचालन प्रक्रियाओं (एसओपी) को बेहतर बनाने में मदद मिलेगी। यह परीक्षण भारतीय नौसेना और इसरो द्वारा सामान्य तथा असामान्य स्थितियों में पुन: प्राप्ति प्रक्रियाओं के लिए एसओपी को अंतिम रूप प्रदान करने के लिए किए जा रहे पुन: प्राप्ति परीक्षणों का हिस्सा है।
CM being lowered into the sea
CM being towed
CM entering well-deck
CM positioned on well-deck fixture